प्रेम और मोह |कृष्ण वाणी – 2 | Krishn Vaani – 2|
कृष्ण वाणी – 2 | प्रेम और मोह | Krishn Vaani – 2|
जब प्रेम में मोह आ जाये तो वो प्रेम नहीं ,स्वार्थ कहलाता है |
इसलिए प्रेम को पास रखिये और मोह को दूर |
क्योंकि जिससे प्रेम करते है, उसका विकास नहीं रोका करते
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